जर्मनी के सबसे अहम रास्ते
कोई रास्ता व्यापार के लिए अहम रहा है, तो कोई दशकों से दौलत और सत्ता का केंद्र. जर्मनी के इन सबसे व्यस्त रास्तों पर ऐसा बहुत कुछ मिलता है, जिसे आप अपने साथ ले जाना चाहेंगे.
बदलती कीमत का गवाह
इस जगह का नाम नमक के नाम पर पड़ा, साल्सश्ट्रासे या फिर सॉल्ट स्ट्रीट. 14वीं शताब्दी में नमक इतना कीमती हुआ करता था कि उसे दूर दूर से इस जगह पर बेचने लाया जाता था. कल जो इतना बेशकीमती था, वो आज कौड़ियों के दाम मिलता है.
पुल है या नहीं
एरफुर्ट का क्रेमरब्रुके एक ऐसा पुल है जो दोनों तरफ बने घरों के कारण पुल जैसा दिखता नहीं. एक समय पर रॉयल हाइवे का हिस्सा रहा यह पुल स्पेन और रूस के बीच व्यापार का महत्वपूर्ण रास्ता था. आज रास्ते के दोनों ओर हैंडीक्राफ्ट बिकते हैं.
रास्ते के नीचे रास्ता
कोलोन शहर के भीड़भाड़ वाले बाजार की होहे श्ट्रासे या हाई स्ट्रीट, हर दिन इस रास्ते से गुजरने वाले बहुत से लोगों को नहीं पता होगा कि रोमन साम्राज्य के दिनों में इस सड़क के करीब छह मीटर नीचे उत्तर-दक्षिण ट्रेड रूट हुआ करता था.
कला और खरीदारी
सन 1806 में जब नेपोलियन को 'ड्यूक फ्रेडेरिक द्वितीय किंग ऑफ व्यु्र्टेमबेर्ग' का ताज पहनाया गया, तब उन्होंने श्टुटगार्ट शहर के अपने आवास का विस्तार किया. आज वही किंग स्ट्रीट महल के दोनों तरफ दूर दूर तक फैल गई है. इसके एक तरफ कला संग्रहालय है.
सिर्फ रईसों के लिए
म्यूनिख की मैक्समीलियन स्ट्रीट पर खरीदारी कर पाना आम आदमी के बस की बात नहीं. इसे जर्मनी का सबसे महंगा इलाका माना जाता है. यह रास्ता 19वीं सदी में राजा मैक्समीलियन ने बनवाया था. इसके दोनों तरफ बेहद खूबसूरत वास्तुकला वाली इमारतें हैं.
राजनीतिक जमावड़े का केंद्र
बर्लिन के कुडाम ने 19वीं शताब्दी में कई विरोध प्रदर्शन और राजनीतिक रैलियां देखीं हैं. आज साढ़े तीन किलोमीटर लंबा यह रास्ता पर्यटकों के आकर्षण का केंद्र है.
लिंडेन पेड़ों की छाया तले
यूरोप के कुछ सबसे मशहूर रास्तों में से एक और बर्लिन का सबसे पुराना रास्ता है 'उंटर डेन लिंडेन'. 17वीं सदी में यह रास्ता घुड़सवारी के लिए इस्तेमाल होता था जिसका नाम दोनों तरफ मौजूद लिंडेन पेड़ों पर पड़ा.
शहर का अंतिम छोर
फैंकफर्ट के प्रमुख बाजार का नाम 'त्साइल' मध्य काल में पड़ा. यहां घर खत्म होते थे और इसके बाद सिर्फ एक दीवार होती थी. उसी जगह पर 2009 में यह आधुनिक शॉपिंग सेंटर बन कर तैयार हुआ. अब इसका नाम है 'माई त्साइल'.
पुराने से नए की ओर
हैम्बुर्ग शहर की इस 100 साल से भी पुरानी मोएनकेबेर्ग स्ट्रीट का नाम शहर के मेयर के नाम पर पड़ा. तस्वीर में दिख रहे सिटी हॉल और रेलवे स्टेशन के बीच बाद में एक खूबसूरत शॉपिंग स्ट्रीट बनाई गई.