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जी-8 देगा सवा सात अरब डॉलर की सहायता

२६ जून २०१०

कनाडा में शिखर बैठक कर रहे 8 बड़े औद्योगिक देशों ने अगले पांच वर्षों में बच्चों और मां की असमय मौत से लड़ने के लिए 7.3 अरब डॉलर देने का फ़ैसला किया है लेकिन 2005 में ग्लेनइगल्स में तय वायदे को पूरा करने में विफल रहा है.

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जी-8 की बैठकतस्वीर: AP

कनाडा ने बच्चों और मांओं की मौत के मुद्दे को शिखर बैठक के एजेंडे पर रखा था और जी-8 देशों की सहमति के बाद प्रधानमंत्री स्टेफ़ान हार्पर ने उम्मीद जताई कि इस लक्ष्य को पूरा किया जाएगा. उन्होंने कहा कि उनका देश 1.1 अरब डॉलर देगा. हार्पर ने साथ ही कहा कि राज्य व सरकार प्रमुख भविष्य में सहायता के वायदों में संयम बरतेंगे.

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जी-8 नेतातस्वीर: AP

स्कॉटलैंड के ग्लेनइगल्स में 2005 में हुई शिखर बैठक में जी-8 के देशों ने अफ़्रीका को दी जाने वाली सहायता को अगले पांच वर्षों में दुगुना करने की घोषणा की थी लेकिन वे अपना वायदा पूरा नहीं कर पाए हैं. अभियान चलाने वाली संस्था वन का कहना है कि अमेरिका, ब्रिटेन औक कनाडा ने ग्लेनइगस्ल में किया अपना वायदा पूरा किया, जबकि इटली ने एक भी पैसा नहीं दिया. जर्मनी, फ़्रांस और जापान ने भी घोषित राशि से कम राशि दी.

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मां और बच्चों के लिए पैसातस्वीर: WorldVision

बच्चों और मांओं की असमय मौत में कमी संयुक्त राष्ट्र के सहस्राब्दी लक्ष्यों में शामिल है. राहत संस्था वर्ड विज़न के अनुसार तय लक्ष्यों को पूरा करने के लिए जी-8 के देशों को अगले पांच सालों में लगभग 24 अरब डॉलर देना होगा. संस्था का कहना है कि कनाडा के प्रधानमंत्री हार्पर द्वारा घोषित 7.3 अरब डॉलर की राशि बहुत कम है.

विकासशील देशों में हर साल पांच साल से कम आयु के 90 लाख बच्चों की मौत हो जाती है. सहस्राब्दी लक्ष्यों के तहत 2015 तक पांच साल से कम के बच्चों की मौतों की संख्या को दो तिहाई और माओं की मौतों की संख्या को तीन चौथाई कम करने का लक्ष्य है.

रिपोर्ट: एजेंसियां/महेश झा

संपादन: एन रंजन