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ब्रिटेन संसद चुनावः टीवी बहस में कैमरन आगे

३० अप्रैल २०१०

ब्रिटेन में संसदीय चुनावों से पहले आखिरी बार प्रधानमंत्री पद के लिए खड़े उम्मीदवारों ने टीवी बहस में हिस्सा लिया. सर्वेक्षणों के मुताबिक कंसर्वेटिव्स के डेविड कैमरन ब्राउन से आगे चल रहे हैं.

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तीसरी बहस में आगेतस्वीर: AP

ब्रिटेन के प्रधानमंत्री गॉर्डन ब्राउन और कंसर्वेटिव्स की तरफ से डेविड कैमरन के अलावा लिबरल पार्टी के निक क्लेग ने भी बहस में हिस्सा लिया. सन अख़बार द्वारा किए गए सर्वेक्षण के मुताबिक 41 प्रतिशत लोगों ने कैमरून को पसंद किया, 32 प्रतिशत ने क्लेग को जबकि ब्राउन के पक्ष में केवल 25 प्रतिशत लोग रहे. आईटीवी के लिए एक सर्वेक्षण के मुताबिक 35 प्रतिशत लोगों को कैमरन के तर्क अच्छे लगे जबकि 33 प्रतिशत ने क्लेग का साथ दिया और ब्राउन को मिला 26 प्रतिशत लोगों का समर्थन.

Nick Clegg Porträt
निक क्लेग का समर्थन बढ़ातस्वीर: AP

अर्थव्यवस्था सबसे बड़ा मुद्दा

ब्रिटेन का बजट घाटा सकल घरेलू उत्पाद के 11 प्रतिशत तक पहुंच चुका है. अर्थव्यवस्था में सुधार न होने के कारण चुनावों में यह अहम मुद्दा बना हुआ है. गुरुवार रात की बहस 6 मई को संसद चुनावों से पहले आखिरी टीवी बहस थी. लेकिन लोगों के ज़हन में देश के भविष्य से ज़्यादा ब्राउन की गुस्ताखी छाई हुई थी. ब्राउन ने बुधवार को उनकी पार्टी की एक समर्थक के खिलाफ आपत्तिजनक टिप्पणी कर दी थी. बहस की शुरुआत में ब्राउन ने अपना मज़ाक उड़ाते हुए सीधे कंसर्वेटिव्स पर निशाना साधा. उन्होंने कहा कि देश के बजट घाटे को कम करने के लिए कंसर्वेटिव्स की योजना ब्रिटेन को दोबारा आर्थिक संकट में धकेल देगी. उन्होंने कहा, "इस नौकरी में करने को बहुत कुछ है, और जैसा कि आपने कल देखा, मैं सारे काम ठीक से नहीं कर पाता. लेकिन मुझे पता है कि एक अर्थव्यवस्था को अच्छे और बुरे समय में कैसे चलाया जा सकता है. जब बैंकों में परेशानी हुई तो मैंने संकट को महासंकट बनने से रोकने के लिए तुरंत कार्रवाई की और आर्थिक अवनति को आर्थिक मंदी होने से रोका."

Flash-Galerie Wahl in Großbritannien Gordon Brown
नहीं मिला टीवी बहस का लाभतस्वीर: AP

उधर कैमरन ने ब्राउन के आर्थिक फैसलों की कड़ी आलोचना की और कहा, "इस प्रधानमंत्री और इस सरकार ने हमारी अर्थव्यवस्था को बर्बाद कर दिया है और एक ऐसा बजट घाटा दिया है जिसके ग्रीस से भी ज़्यादा बढ़ने की आशंका है." 13 साल लेबर पार्टी की सरकार के बाद कैमरन ने कहा कि कंसर्वेटिव्स को वोट करने से एक नई सरकार आएगी जो देश को एक नई दिशा दिखाएगी और ज़रूरी बदलाव लाएगी. इसके अलावा टैक्स, बैंक और ब्रिटेन के उत्पादों में कमी विवाद का केंद्र बने रहे. तीनों उम्मीदवारों से आप्रवासन पर भी सवाल पूछे गए.

13 साल के बाद नई सरकार?

अमेरिका में राष्ट्रपति चुनाव के दौरान उम्मीदवारों के बीच बहस को टीवी पर दिखाया जाता है. ब्रिटेन में ऐसा पहली बार इस साल के संसद चुनावों में हो रहा है. कंसर्वेटिव्स या टोरीज़ और लेबर पार्टी तो हमेशा से ही राजनीतिक मंच पर रहे हैं लेकिन इस बहस का असली फायदा क्लेग और उनकी लिबरल पार्टी को हुआ है जो अब तीसरे स्थान पर है. सर्वेक्षणों से लगता है कि कंसर्वेटिव्स आगे रहेंगे लेकिन अगर लिबरल्स का प्रदर्शन इसी तरह रहा तो लेबर या टोरीज़ में से किसी को भी बहुमत हासिल नहीं होगा.

रिपोर्टः एजेंसियां/एम गोपालकृष्णन

संपादनः महेश झा