1. कंटेंट पर जाएं
  2. मेन्यू पर जाएं
  3. डीडब्ल्यू की अन्य साइट देखें

स्पेन के पुयोल ने अंतरराष्ट्रीय फुटबॉल से संन्यास लिया

१५ जुलाई २०१०

स्पेन के वर्ल्ड कप मिशन को कामयाब बनाने वाले कार्लस पुयोल ने अंतरराष्ट्रीय फुटबॉल से संन्यास का एलान किया. पुयोल के मुताबिक वर्ल्ड कप जीतने के बाद अब संन्यास लेने का सही वक्त आ चुका है. बार्सिलोना से खेलते रहेंगे.

https://p.dw.com/p/OJMt
तस्वीर: AP

वर्ल्ड कप के सेमीफाइनल में जर्मनी को चकनाचूर कर देने वाले स्टार खिलाड़ी पुयोल अब स्पेन की तरफ से कोई अंतरराष्ट्रीय मैच नहीं खेलेंगे. लंबी कद काठी और लंबे घुंघराले बालों से पहचाने जाने वाले पुयोल अब 32 साल के हो चुके हैं. वह कहते हैं कि अब वह सिर्फ अपने क्लब बार्सिलोना के लिए ही खेलेंगे.

पुयोल की कहानी किसी रोमांचक उपन्यास से कम नहीं है. 14 साल की उम्र में उन्होंने गोलकीपर के तौर पर फुटबॉल खेलना शुरू किया. बाद में वह अंडर-19 टीम में गोलकीपर के तौर पर आए. लेकिन एक मैच के दौरान उनका कंधा टूट गया. चोट के चलते पुयोल ने गोलकीपिंग छोड़ दी और फिर वह स्ट्राइकर बन गए. स्ट्राइकर बनने के बाद वह पीछे हटते गए और मिडफील्ड में आ गए.

Champions League
बार्सिलोना के लिए जारी रहेगा खेलतस्वीर: AP

बार्सिलोना के साथ वह और पीछे आए और डिफेंडर बने. बेजोड़ बचाव करते हुए तुरंत हमला बोलने की कला के चलते पुयोल को सेंट्रल डिफेंडर की जिम्मेदारी दी गई. सन 2000 में स्पेन की टीम में उनकी एंट्री हुई. 2002, 2006 के वर्ल्ड कप के अलावा उन्होंने 2004 और 2008 का यूरो कप भी खेला.

2010 उनका आखिरी वर्ल्ड कप साबित हुआ लेकिन इस महामुकाबले के दौरान भी पुयोल ने ही अपनी टीम के लिए जीत की इबारत लिखी. उन्होंने डिफेंडर के काम को बखूबी अंजाम दिया. वर्ल्ड कप के सात मैचों में स्पेन ने सिर्फ दो गोल खाए. सेमीफाइनल जैसे अहम मुकाबले में जब स्पेन का कोई खिलाड़ी जर्मनी के खिलाफ गोल नहीं दाग पा रहा था, तब पुयोल ने ही 73वें मिनट में ऐसा हेडर मारा कि जर्मन टीम को हौसले ढह गए.

रिपोर्ट: एजेंसियां/ओ सिंह

संपादन: उभ