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हसी ने जीवन भर का दर्द दियाः अजमल

१८ मई २०१०

टी-20 वर्ल्ड कप के सेमीफाइनल में माइक हसी के हाथों धुनाई खाने वाले पाकिस्तानी गेंदबाज़ ने कहा, ज़िंदगी भर नहीं भूलूंगा वह ओवर. अजमल के उस आख़िरी ओवर की वजह से पाकिस्तान को हार का मुंह देखना पड़ा.

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तस्वीर: AP

वह नज़ारा अब भी क्रिकेट प्रेमियों के ज़ेहन में ताज़ा है. ऑस्ट्रेलिया के सात विकेट गिर चुके थे और कंगारू टीम को आख़िरी ओवर में जीत के लिए 18 रन चाहिए थे. पाकिस्तान के कप्तान शाहिद अफ़रीदी ने गेंद ऑफ़ स्पिनर सईद अजमल को थमाई. अजमल की पहली गेंद पर मिचेल जानसन ने एक रन लिया और हसी को स्ट्राइक दी.

अब लक्ष्य था पांच गेंदों में 17 रन. हसी ने लगातार दो छक्के जड़े. फिर चौका मारा और पांचवीं गेंद पर एक और छक्का. क्रिकेट इतिहास की एक और सनसनीखेज जीत दर्ज करते हुए ऑस्ट्रेलिया फाइनल में पहुंच गया.

उस ख़ास पल के बारे में अजमल कहते हैं, ''जब हसी ने आख़री छक्का मारा तो मेरा दिल टूट गया. मुझे अब भी बुरा लग रहा है. भावानात्मक रूप से वह मेरे लिए काफ़ी मुश्किल दौर था. सभी साथी खिलाड़ी मेरे पास आए और मुझे सांत्वना दी. कहा फिक्र मत करो.''

पांच गेंदों पर 23 रन खाने वाले अज़मल के मुताबिक उस ओवर की कड़वी यादें और हार के छींटे उनके दामन पर हमेशा के लिए लग चुके हैं. अजमल ने कहा, ''मुझे अब भी वह दर्द महसूस हो रहा है. जब आप इतना बड़ा मैच इस ढंग से हार जाते हैं तो यक़ीन मानिए बहुत ख़राब लगता है.''

अजमल के मुताबिक ऑस्ट्रेलिया के ख़िलाफ़ मैच से पहले ही यह तय हो गया था कि आख़िरी ओवर मैं करूंगा. यह टीम का गेम प्लान था. मैं मानसिक रूप से इसके लिए तैयार भी था लेकिन हसी ने सब चौपट कर दिया. पाकिस्तानी गेंदबाज़ ने कहा, ''पहली गेंद परफेक्ट थी. जैसे मैंने सोचा था वह वैसे ही पड़ी. फिर मैं हवा के विपरीत गेंदबाज़ी करने लगा और लाइन, लेंथ गड़बड़ा गई. हसी ने शानदार पारी खेली. ऐसे अहम मौके पर उन्होंने बेहतरीन यादगार पारी खेली, जो मुझे भी याद रहेगी.''

वैसे पाकिस्तानी स्पिनर के लिए पूरा टी-20 वर्ल्ड कप यादगार रहा. सेमीफाइनल से पहले वह बेहद किफायती और असरदार साबित हुए, लेकिन आख़िरी मैच उन्हें ले डूबा. अजमल को लगता है कि एशिया कप में अच्छा प्रदर्शन करने पर वह बुरी यादों से पीछा छुड़ा सकेंगे. जब उनसे यह पूछा गया कि आइंदा वह कड़े मुक़ाबले में आख़िरी ओवर डालेंगे तो उन्होंने शर्माते और मुस्कुराते हुए कहा, ''देखा जाएगा, ज़रूर आख़िरी ओवर फेंकूंगा.''

रिपोर्ट: एजेंसियां/ओ सिंह

संपादन: ए जमाल