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इतिहास में आज: 2 दिसंबर

ऋतिका राय१ दिसम्बर २०१४

सन् 1804 में आज ही के दिन नेपोलियन की ताजपोशी फ्रांस के सम्राट के तौर पर की गई.

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तस्वीर: picture alliance/Imagno

2 दिसंबर 1804 को पेरिस के नोत्रेदाम कैथेड्रल में नेपोलियन बोनापार्ट की नेपोलियन प्रथम के तौर पर ताजपोशी हुई. करीब हजार साल के बाद सम्राट के तौर पर सत्तारूढ़ होने वाले वह पहले फ्रांसीसी शासक थे. पूरे यूरोप पर फतह हासिल करने वाले इस 35 वर्षीय शासक को पोप पायस सप्तम ने ताज सौंपा जिसे नेपोलियन ने खुद अपने सिर पर सजाया.

इतिहास के महानतम सैनिक रणनीतिज्ञों में से एक माने जाने वाले नेपोलियन का जन्म कॉर्सिका में हुआ था. 1790 के दशक में फ्रेंच रिवॉल्यूशनरी आर्मी में बहुत तेजी से उनका कद बढ़ा. सन् 1799 में फ्रांस की यूरोप के ज्यादातर देशों के साथ लड़ाई छिड़ी हुई थी. ऐसे में नेपोलियन मिस्र में अपना सैनिक अभियान पूरा करके फ्रांस लौटे और देश को बचाने की कोशिशों में जुट गए. फरवरी 1800 में वह पहले कॉन्सुल चुने गए और सेना को पुनर्गठित कर उन्होंने ऑस्ट्रिया पर जीत दर्ज की. 1802 में फ्रांसीसी कानून के एक नए सिस्टम में उन्होंने नेपोलियन कोड लागू किया. 1804 में फ्रांसीसी साम्राज्य स्थापित किया और 1807 तक आते आते यह साम्राज्य उत्तर में एल्बे नदी से लेकर दक्षिण में इटली तक फैला लिया.

सन् 1812 में नेपोलियन को कुछ बड़ी हारों का सामना करना पड़ा. रुस और स्पेन पर कब्जा करने की कोशिशों में उन्हें मुंहकी खानी पड़ी. वहीं 1814 में एलाइड फोर्सेज से बुरी तरह हारने के बाद एल्बा के द्वीपों में निर्वासन का जीवन जीने लगे. 1815 की शुरुआत में नेपोलियन फ्रांस भाग निकले और फिर से एक नई ग्रैंड आर्मी का गठन किया. इस आर्मी को शुरुआती सफलता भी मिली लेकिन वॉटरलू की लड़ाई में एलाइड फोर्सेज ने इसे धूल चटा दी.

दुबारा निर्वासित होकर नेपोलियन अफ्रीका के तटीय क्षेत्र में स्थित सेंट हेलेना द्वीप में रहने लगे. मई 1821 में केवल 51 साल की उम्र में पेट के कैंसर से उनकी मौत हो गई. 1840 में उनके शरीर को वापस पेरिस लाया गया और बहुत बड़े अंतिम संस्कार का आयोजन हुआ. पेरिस स्थित आर्क डे ट्रायंफ के रास्ते ले जाकर उसे डोम ऑफ इनवैलिड्स में समाधि दे दी गई.