"कसाब की सजा सीमा पार आतंकी संगठनों को संदेश"
७ मई २०१०रक्षा मंत्री एंटनी ने दिल्ली में संवाददाताओं से कहा, "सीमा पार काम कर रहे आतंकवादी संगठनों, संस्थाओं और ग्रुपों के लिए यह फैसला एक साफ संदेश है. इस फैसले से साबित होता है कि मौजूदा कानून के तहत हम अगर चाहें तो आतंकवादी संगठनों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई कर सकते हैं और इससे अपराधियों और आतंकी संगठनों को सख्त संदेश भेज सकते हैं."
एंटनी ने यह बात तब कही, जब उनसे पूछा गया कि मुंबई में 26/11 के आतंकवादी हमलों के बाद कसाब को मिली मौत की सजा पर उनकी क्या प्रतिक्रिया है. नवंबर, 2008 में मुंबई में लगभग तीन दिनों तक आतंकी हमला चला था, जिसमें 166 लोगों की जान गई थी.
मुंबई की एक विशेष अदालत ने गुरुवार को इस हमले में शामिल एकमात्र पकड़े गए आतंकवादी आमिर अजमल कसाब को मौत की सजा सुनाई. अदालत ने सोमवार को ही कसाब को इस मामले में दोषी ठहराया था.
भारत का बार बार कहना रहा है कि इस हमले के पीछे पाकिस्तान का हाथ था और इसमें कई सरकारी तंत्र भी शामिल थे. हमले के दौरान पकड़े गए एकमात्र आतंकवादी अजमल कसाब के पाकिस्तानी नागरिक होने की पुष्टि भी बहुत पहले हो चुकी है. पाकिस्तान ने भी इस बात को माना है कि कसाब उनके देश का है. इस हमले के सिलसिले में पाकिस्तान की अदालत में भी मुकदमा चल रहा है.
यह पूछे जाने पर कि क्या पाकिस्तान भारत की पश्चिमी सीमा पर फौजी अभ्यास में अमेरिका से मिले हथियारों का इस्तेमाल कर रहा है, एंटनी ने कहा कि भारत ने पहले ही अमेरिका को चेतावनी दे दी है कि जो हथियार तालिबान के खिलाफ इस्तेमाल के लिए सप्लाई किए जा रहे हैं, उनका इस्तेमाल भारत के खिलाफ तैयारी में हो सकता है.
रिपोर्टः पीटीआई/ए जमाल
संपादनः महेश झा