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म्यांमार से निष्पक्ष चुनाव कराने की मांग

१० अप्रैल २०१०

दक्षिण पूर्व एशियाई देशों के नेताओं ने हनोई में शुक्रवार को अपने शिखर सम्मेलन की समाप्ति पर म्यांमार के सैनिक शासकों से निष्पक्ष और सम्यक चुनाव कराने की मांग की है.

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वियतनामी प्रधानमंत्री तान दुंगतस्वीर: RIA Novosti

दक्षिण पूर्व एशियाई देशों के संगठन आसियान के शिखर सम्मेलन के अंत में जारी समापन घोषणा में कहा गया है कि सरकारी खर्च और आसान कर्ज़ की बाढ़ से क्षेत्र की अर्थव्यवस्था को बढ़ते पैमाने पर ठोस आधार पर लाने में सफलता मिली है.

समापन दस्तावेज में वैश्विक वित्तीय संकट से राहत को जारी रखने के लिए सहयोग का वचन दिया गया है. आसियान नेताओं ने कहा है कि अर्थव्यवस्था के पूरी तरह स्वस्थ होने तक आर्थिक और वित्तीय समर्थन जारी रहेगा, लेकिन साथ ही कहा है कि आर्थिक और वित्तीय प्रोत्साहन के क़दमों को घटाने का रास्ता खोजे जाने की आवश्यकता है.

Than Shwe, Führer der burmesischen Militärjunta
म्यांमार के सैनिक शासक थान श्वेतस्वीर: AP

आसियान प्रमुख वियतनामी प्रधानमंत्री न्गूयेन तान दुंग ने कहा कि आसियान नेताओं ने म्यांमार से स्वतंत्र, निष्पक्ष और सम्यक चुनाव कराने और इस प्रक्रिया में आसियान तथा संयुक्त राष्ट्र के साथ सहयोग करने की मांग की है. इससे पहले म्यांमार के प्रधानमंत्री थाइन साइन ने आसियान नेताओं को चुनाव की योजनाओं की जानकारी दी थी.

Ibrahim Gambari tirfft Aung San Suu Kyi in Birma Myanmar
सू ची के चुनाव लड़ने पर रोकतस्वीर: picture-alliance/dpa

वियतनामी प्रधानमंत्री तान दुंग आसियान नेताओं का यह संदेश देने शिखर सम्मेलन से ठीक पहले म्यांमार गए थे. वहां उन्होंने कहा था कि चुनाव में सभी पार्टियों की भागीदारी होनी चाहिए. आसियान के हिसाब से यह टिप्पणी काफी दोटूक थी. कुछ सदस्य देशों की चिंता है कि म्यांमार का रुख आसियान की साख को बट्टा लगा रहा है.

म्यांमार के सैनिक शासन ने पिछले नए चुनाव कानून की घोषणा की है जिसमें विपक्षी नेता आउंग सान सू ची सहित राजनीतिक बंदियों के चुनाव लड़ने पर प्रतिबंध है. उनकी नेशनल लीग फॉर डेमोक्रैसी ने 1990 के चुनावों में भारी जीत हासिल की थी, लेकिन सैनिक सरकार ने चुनाव परिणामों को मानने से इंकार कर दिया था. इस बार लीग चुनाव का बहिष्कार कर रही है.

रिपोर्ट: एजेंसियां/महेश झा

संपादन: उज्ज्वल भट्टाचार्य