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स्मार्ट टीवी के कान से बचें

११ फ़रवरी २०१५

दीवारों के कान हों या ना हो, सैमसंग के स्मार्ट टीवी के कान जरूर हैं. सैमसंग ने अपने ग्राहकों को चेतावनी दी है कि वे स्मार्ट टीवी के सामने बातचीत करते हुए गोपनीय जानकारियां न दें.

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तस्वीर: picture alliance/Yonhap

अगर आपके घर में सैमसंग का स्मार्ट टीवी है तो जरा संभलकर बातचीत करें, हो सकता है कि टीवी आपकी बात सुने और दूसरों तक पहुंचा दे. दक्षिण कोरियाई कंपनी के स्मार्ट टीवी में वॉयस रिकॉगनिशन टेक्नोलॉजी है. इंटरनेट से कनेक्ट होने वाला ये टीवी अपने आस पास होने वाली बातचीत को रिकॉर्ड और शेयर करता है.

सैमसंग ने खुद इसकी जानकारी अपनी बेवसाइट पर दी है. टीवी की प्राइवेसी पॉलिसी कहती हैं, "कृपया इस बात का ध्यान रखें कि अगर आप निजी या संवेदनशील जानकारियों से भरे शब्द कह रहे हैं तो वॉयस रिकॉगनिशेन के जरिए ये सूचना भी दर्ज हो जाएगी और बाकी डाटा के साथ तीसरे पक्ष तक पहुंच जाएगी."

टीवी में वॉयस कमांड है, यानी बिना रिमोट के सिर्फ आवाज देकर टीवी आपकी बात मानेगा. लेकिन ये वॉयस रिकॉगनिशन के जरिए ही होगा. यूजर चाहे किसी भी भाषा में बात करें, वॉयस रिकॉनिशन सिस्टम उसे सुनेगा और उसका टेक्स्ट अनुवाद करेगा और टीवी को कमांड देगा.

IFA Berlin Samsung UHD TV
तस्वीर: Reuters

वॉयस रिकॉगनिशन सिस्टम सैमसंग का अपना नहीं है. यह थर्ड पार्टी सिस्टम है. सैमसंग ने वॉयस रिकॉगनिशन सॉफ्टवेयर देने वाली कंपनी का नाम नहीं बताया है. कंपनी का कहना है कि सॉफ्टवेयर के सहारे वो टीवी का प्रदर्शन बेहतर करना चाहती है. लेकिन कंपनी का कहना है कि यूजर के पास वॉयस कमांड को बंद करने का विकल्प होगा. सैमसंग ने कहा है कि वो ग्राहकों की निजता के प्रति "बेहद गंभीर है. हम इंडस्ट्री स्टैंडर्ड के सुरक्षा उपाय अमल में लाते हैं. इनमें डाटा इंक्रिप्शन भी है ताकि ग्राहकों की निजी जानकारी को सुरक्षित रखा जा सके और बिना अनुमति के डाटा लेने या उसके इस्तेमाल को रोका जा सके."

यह पहला मौका नहीं है जब स्मार्ट टीवी और निजता का मुद्दा सामने आया है. 2013 में एलजी इलेक्ट्रॉनिक्स ने स्वीकार किया कि उनका स्मार्ट टीवी यूजर्स के टीवी देखने की आदत के आंकड़े जुटाता है. ये बिना सहमति के होता है और आंकड़े आगे भेजे जाते हैं. इसी के आधार पर एलजी ने भिन्न उम्र, लिंग और पसंद वाले ग्राहकों के टीवी पर अलग अलग विज्ञापन भी दिखाए.

ओएसजे/एमजे(एपी)