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सीआरपीएफ के जवानों ने बेचा नक्सलियों को गोला-बारूद!

१ मई २०१०

उत्तर प्रदेश पुलिस ने सीआरपीएफ के जवानों समेत छह लोगों को ग़िरफ़्तार किया है. इन लोगों पर छत्तीसगढ़ और झारखंड के नक्सलियों को हथियार बेचने का शक जताया जा रहा है. यूपी में कई जगह छापे भी मारे गए हैं.

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तस्वीर: UNI

छापों में उत्तर प्रदेश पुलिस की स्पेशल टास्क फोर्स ने एके-47 की आठ मैग्ज़ीन, क़रीब 5,000 कारतूस और मोबाइल फोन बरामद किए. इस सिलसिले में सीआरपीएफ के दो जवानों और एक पूर्व जवान को ग़िरफ़्तार किया. आरोप है यह लोग सीआरपीएफ़ के हथियार चुराकर स्थानीय पुलिसकर्मियों की मदद से उन्हें बेचते थे.

Naxalite Soldat
तस्वीर: AP

दर्जन भर से ज़्यादा ज़िलों में छापे मारने के बाद यूपी पुलिस के एडीजी, लॉ एंड ऑर्डर बृजलाल ने ज़्यादा जानकारी देते हुए कहा, ''हमें शक है कि ये लोग कुछ नक्सल संगठनों को असलहा हैं. लेकिन यह जानकारी पूरी जांच के बाद ही सामने आ सकेगी.'' एडीजी का कहना है कि दंत्तेवाड़ा में सीआरपीएफ के 76 जवानों की हत्या के बाद यूपी पुलिस को सूचना मिली थी कि हथियार इलाहाबाद के रास्ते से आए थे.

पुलिस के मुताबिक रामपुर, मुरादाबाद, झांसी, बस्ती और गोरखपुर समेत कई जगहों पर छापेमारी के दौरान 245 किलोग्राम खोखे भी मिले. पुलिस के मुताबिक इन खोखों में बारूद भरकर इन्हें दोबारा गोली की तरह इस्तेमाल किया जाता है. अब तक हुई पूछताछ के बाद यूपी में अन्य जगहों पर भी छापे मारे जा रहे हैं.

पुलिस का कहना है कि सीआरपीएफ के हथियार डिपो में तैनात कुछ जवान तस्करी से जुड़े हैं. फायरिंग के अभ्यास में गोलियों की संख्या कम होती थी लेकिन यह जवान कागज़ों में गोलियों की संख्या ज़्यादा भरते थे, ताकि चोरी का शक़ न हो.

मामले की गंभीरता को देखते हुए केंद्र भी इस पर नज़र बनाए हुए है. शुक्रवार को केंद्रीय गृहसचिव जीके पिल्लई ने कहा, ''अभी तक इनके और नक्सलियों के बीच में कोई संबंध साबित नहीं हुआ है, जांच चल रही है.''

रिपोर्ट: एजेंसियां/ओ सिंह

संपादन: एस गौड़