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स्पेन में भी पहुंचे उग्र दक्षिणपंथी संसद में

२९ अप्रैल २०१९

पिछले चार सालों में स्पेन में हुए चौथे चुनाव में प्रधानमंत्री पेड्रो सांचेज की सोशलिस्ट पार्टी सबसे बड़ी पार्टी बन कर उभरी है. तानाशाह फ्रांको के बाद पहली बार देश की संसद में धुर दक्षिणपंथी पार्टी भी होगी.

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Spanien Parlamentswahlen in Madrid
तस्वीर: AFP/J. Soriano

समाजवादियों के लिए यह जश्न का मौका है, प्रधानमंत्री पेड्रो सांचेज के नेतृत्व में पार्टी ने पिछले ग्यारह सालों में सबसे अच्छा प्रदर्शन किया है, लेकिन करीब उनतीस प्रतिशत वोट जीतने के बावजूद सरकार बनाना इतना आसान नहीं होगा. वामपंथी पोडेमस के साथ वह गठबंधन सरकार बना सकती थी, लेकिन उसे इतने वोट नहीं आए कि दोनों पार्टियों का गठबंधन हो सकता.

पोडेमस को सिर्फ 14.3 प्रतिशत वोट मिले. अब सांचेज को क्षेत्रीय पार्टियों को भी गठबंधन में शामिल करना होगा, लेकिन गठबंधन की बातचीत आसान नहीं होगी. यूरोपीय संघ की चौथी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था में 2016 की स्थिति के दोहराए जाने की संभावना है जब छह महीने के अंदर वहां दो बार चुनाव कराने पड़े थे और एक साल तक कोई नियमित सरकार नहीं बन पाई थी.

ऐतिहासिक चुनाव

मई में होने वाले यूरोपीय संघ के चुनावों से पहले स्पेन में भी यूरोप की आम रुझान दिखाई पड़ी है. स्पेन में फ्रांको तानाशाही के खत्म होने के बाद पहली बार कोई धुर दक्षिणपंथी पार्टी संसद में प्रवेश पाने में सफल रही है. 2013 में बनी फॉक्स पार्टी ने चुनावों में करीब 10.3 प्रतिशत वोट जीते हैं. उसे स्पेन में चरमपंथी पार्टी माना जाता है.

2018 तक सत्ता में कंजरवेटिव पार्टी को इन चुनावों में करारी हार का सामना करना पड़ा है. उसे सिर्फ 16.7 प्रतिशत वोट मिले. यह न सिर्फ 2016 के मुकाबले उसका सबसे खराब प्रदर्शन है, बल्कि अब तक का सबसे खराब प्रदर्शन भी है. लिबरल पार्टी सियुदादानोस को 15.8 प्रतिशत वोट मिले हैं. इस चुनाव में 75 प्रतिशत मतदाताओं ने हिस्सा लिया.

मुश्किल सरकार बनाना

अगला संसदीय चुनाव 2020 में होना था. लेकिन पिछले प्रधानमंत्री मारियानो राखोय को अविश्वास मत के जरिए हटाकर सत्ता में आए प्रधानमंत्री सांचेज ने संसद द्वारा अपने बजट को अस्वीकार किए जाने के बाद इसी साल नया मतादेश लेने का फैसला किया. रविवार को हुए चुनाव के बाद सरकार बनाने का दावा पेश करते हुए उन्होंने कहा, "भविष्य की जीत हुई है, अतीत हार गया है."

लेकिन सोशलिस्ट पार्टी और पोडेमस को मिलाकर 165 सीटें मिली हैं. सरकार बनाने के लिए 176 सीटों की जरूरत है. सांचेज को इन ग्यारह सीटों का इंतजाम क्षेत्रीय पार्टियों से करना होगा. इनमें बास्क और कैटेलोनिया की क्षेत्रीय पार्टियां भी शामिल है. अच्छी बात यही है कि चुनाव के नतीजे सरकार बनाने के दूसरे विकल्प भी देते हैं. इसलिए स्पेन को किसी अल्पमत सरकार के भरोसे नहीं रहना होगा.

एमजे/आईबी (रॉयटर्स, एपी)

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