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समाज

वुहानः तालाबंदी के बाद उम्मीदों का उजाला

८ अप्रैल २०२०

चीनी शहर वुहान में 11 हफ्तों के लॉकडाउन के खत्म होते ही लोग घरों के बाहर निकले. हजारों लोगों ने पहली ट्रेन और फ्लाइट लेकर शहर छोड़ दिया. वुहान वही शहर है जहां कोरोना वायरस का पहला मामला सामने आया था.

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China Wuhan Rückkehr zur Normalität
76 दिनों के लॉकडाउन खत्म होने के बाद वुहान कुछ इस तरह नजर आया.तस्वीर: AFP/H. Retamal

चीन के हुबेई प्रांत की राजधानी वुहान में अभूतपूर्व लॉकडाउन खत्म हो चुका है. यह लॉकडाउन कोरोना वायरस के संक्रमण को फैलने से रोकने में कई देशों के लिए एक मॉडल साबित हुआ. पाबंदियों के हटने के साथ ही वुहान एक नए प्रयोग में लग गया है. यह प्रयोग है बिना किसी बीमारी के कारोबार की दोबारा शुरुआत करना और आम जिंदगी को पटरी पर लाना.

वुहान के लोगों को बिना कोई आदेश दिखाए शहर से बाहर जाने की इजाजत है, हालांकि उन्हें एक अनिवार्य स्मार्टफोन ऐप डाउनलोड करना होगा जिससे ट्रैकिंग की मदद दे सरकारी निगरानी हो पाए कि वे स्वस्थ हैं और हाल के दिनों में किसी पॉजिटिव केस के संपर्क में नहीं आए हैं.

China Wuhan Tianhe International Airport Umarmungen beim Abschied
वुहान के एयरपोर्ट पर विदाई लेती मेडिकलकर्मी. तस्वीर: Reuters/Aly Song

वुहान में कोरोना वायरस ने लाखों लोगों को दर्द दिया, हजारों की मौत हुई और लाखों के दिल और दिमाग पर गहरा असर हुआ. लॉकडाउन के खत्म होने पर इमारतें उन स्वास्थ्यकर्मियों और अधिकारियों के प्रति आभार जताने के लिए रंग बिरंगी बत्तियों से सज गईं, जिन्होंने मुश्किल हालात के समय में शहरवासियों की सेवा की. शहर की एक इमारत पर लिखा था "साहसी शहर”. यह उपनाम चीन के राष्ट्रपति शी जिनपिंग ने वुहान को दिया है.

लोगों ने लॉकडाउन खत्म होने पर चीनी झंडे लहराए और "वुहान बढ़े चलो" के नारे लगाए. इस मौके पर लोगों ने चीन का राष्ट्रगान भी गाया.

नदी किनारे खड़े होकर रोशनी को देखते हुए टोंग झेंगकुन कहते हैं, "मैं 70 से अधिक दिनों से बाहर नहीं निकला था.” झेंगकुन जिस बिल्डिंग में रहते हैं वहां किसी शख्स को कोरोना हो गया था, इस वजह से पूरी इमारत सील कर दी गई. उन्हें जरूरी सामान लाने के लिए भी बाहर जाने की इजाजत नहीं थी, सामान पड़ोस की दुकानों से कर्मचारी उनके दरवाजे तक लाते थे. झेंगकुन कहते हैं, "मैं घर में बंद रहकर पागल हो रहा था.”

लॉकडाउन खुलते ही ट्रैफिक को सामान्य होने में वक्त नहीं लगा, पुल के ऊपर से गाड़ियां जाने लगीं, दोबारा खुले हाइवे फिर गाड़ियों से पट गए. स्थानीय मीडिया के मुताबिक लॉकडाउन के खत्म होने के कुछ घंटे के भीतर करीब  65,000 लोग शहर छोड़ चुके थे.

China Wuhan Reisende am Bahnhof
वुहान में लॉकडाउन खत्म होते ही लोग रेल, हवाई और सड़क के रास्ते शहर छोड़ने लगे. तस्वीर: Reuters

नए मामलों में गिरावट के बाद वुहान में पिछले कुछ हफ्तों से पाबंदियों में ढील दी जा रही थी. चीन में कोरोना वायरस से 82,000 लोग संक्रमित हुए थे और 3,300 से अधिक लोगों की मौत हुई थी. बुधवार 8 अप्रैल को सरकार ने कहा कि कोई नया मामला सामने नहीं आया है. हालांकि चीन के आंकड़ों की सत्यता के बारे में सवाल जरूर उठाए जा रहे हैं. लेकिन वुहान में जिस तरह का लॉकडाउन हुआ और उससे सफलता मिली उसको देखते हुए कई देश इस मॉडल को अपना रहे हैं.

China Wuhan | Coronavirus | Friseur
वुहान में लॉकडाउन खत्म होने के बाद पटरी पर लौटती जिंदगी.तस्वीर: Getty Images/AFP/N. Celis

76 दिनों के लॉकडाउन के दौरान लोगों को सिर्फ भोजन खरीदने या फिर बेहद जरूरी काम के लिए ही घरों से बाहर जाने दिया गया. कुछ लोगों को शहर भी छोड़ने दिया गया था हालांकि उन्हें इसके लिए दस्तावेज पेश करने पड़े कि वे स्वस्थ हैं और उन्हें कोई खतरा नहीं है. उन्हें यह भी लिखित में बताना पड़ा कि वे कहां और क्यों जा रहे हैं. कई बार अधिकारी ऐसे लोगों को लौटा भी देते थे जिनके लिखित पत्र प्रमाणित नहीं होते थे. इस तरह से हजारों लोगों को शहर से बाहर जाने से रोका गया.

एए/सीके (एपी)

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